यंगून : बांग्लादेश जाने के लिए 10,000 से ज्यादा रोहिंग्या सीमा पर एकत्रित हो गए हैं. भोजन आपूर्ति कम होने तथा उनके खिलाफ बढ़ती नफरत के कारण रोहिंग्या मुस्लिमों का देश से पलायन करना जारी है. म्यांमार की मीडिया ने मंगलवार को यह जानकारी दी. पिछले महीने से लेकर अब तक 500,000 से ज्यादा रोहिंग्या बांग्लादेश जा चुके हैं. रोहिंग्या मुस्लिमों के निरंतर पलायन से मुस्लिम अल्पसंख्यकों के स्वदेश लौटने के लिए सोमवार को रखे गए म्‍यांमार के प्रस्ताव पर आशंका के बादल मंडराने लग गए हैं. कुछ ही सप्ताह में रखाइन प्रांत में रोहिंग्या आबादी आधी रह गई है तथा और लोग गांव छोड़कर जा रहे हैं. सरकार समर्थित ग्लोबल न्यू लाइट ऑफ म्‍यांमार की एक खबर के मुताबिक, 10,000 से ज्यादा मुस्लिम पड़ोसी देश जाने के लिए लेत्फ्यूक्या और क्वुंथपिन गांव के बीच पहुंच रहे हैं. खबर में कहा गया है कि अधिकारी पलायन कर रहे रोहिंग्या को यह आश्वासन देने की कोशिश कर रहे हैं कि अब वे रखाइन में सुरक्षित हैं लेकिन इसके बावजूद वे जाना चाहते हैं. इससे पहले सोमवार को ही बांग्लादेश के विदेश मंत्री ने कहा था कि म्यामांर ने हजारों रोहिंग्या लोगों को वापस लेने का प्रस्ताव किया है. हाल के हफ्तों में ये लोग बांग्लादेश भाग गए थे. बांग्लादेश के विदेश मंत्री एएच महमूद अली ने म्यामांर के एक वरिष्ठ प्रतिनिधि के साथ बातचीत के बाद यह जानकारी दी थी. उन्होंने संवाददाताओं से कहा, 'वार्ता दोस्ताना माहौल में हुई और म्यामांर ने रोहिंग्या शरणार्थियों को वापस लेने का प्रस्ताव किया है'.